जय जय जप्य-जयेजय-शब्द-परस्तुति-तत्पर-विश्वनुतेभण-भण-भिञ्जिमि-भिङ्कृत-नूपुर-सिञ्जित-मोहित-भूतपते ।नटित-नटार्ध-नटीनट-नायक-नाटित-नाट्य-सुगानरतेजय जय हे महिषासुरमर्दिनि रम्यकपर्दिनि शैलसुते ॥ १० ॥